पाकुड़। हिंदी के प्रख्यात समालाेचक-साहित्यकार प्रो मनमोहन मिश्र की चौथी पुण्यतिथि पर कल योग भवन पाकुड़ में आयोजित ‘प्रो मनमोहन मिश्र स्मृति संगोष्ठी-सह-पुस्तक विमोचन समारोह‘ में साहित्य अकादमी पुरस्कार प्राप्त राष्ट्रीय ख्याति प्राप्त कवि ज्ञानेंद्रपति और नीलोत्पल मृणाल (‘डार्क हॉर्स” एवं ‘औघड़’ के उपन्यासकार), विनय सौरभ, देवेश आत्मजयी, अनिरुद्ध प्रसाद विमल, उपन्यासकार रंजन, डॉ पंकज साहा, वरिष्ठ पत्रकार-संपादक संजय मिश्र, वरिष्ठ कवि शंभुनाथ मिस्त्री, अरुण सिन्हा, बांग्ला के अप्रतिम साहित्यकार बनफूल के उपन्यास ‘डाना’ के अनुवादक जयदीप, संजीव नियागी सहित हिंदी, बांग्ला और अंगिका के झारखंड, बिहार, बंगाल और उत्तर प्रदेश से 40 से ज्यादा लब्ध प्रतिष्ठ साहित्यकार, समालोचक, पत्रकार और संस्कृतिकर्मी जुटेंगे।
अजित कुमार के अलावा आसनसोल से कवि नवीनचंद्र सिंह, दुमका से डॉ आरके नीरद, हिमांशु मिश्रा, अमरेंद्र सुमन, विद्यापति झा, दुर्गेश चौधरी, अंजनी शरण, सपन पत्रलेख, नंदन झा, देवघर से डॉ शंकर मोहन झा, उमाशंकर राव ‘उरेंदु’, अनिल कुमार झा, सर्वेश्वर दत्त द्वारी, हिमांशु कुमार झा, रविशंकर साह, नरेश कुंजिलवार, अशोक कुंजिलवार, नीरज चौधरी, ओमप्रकाश पांडेय एवं नरेश साह, गोड्डा से सुधीर मिश्रा, डाॅ प्रदीप प्रभात, डॉ ब्रह्मदेव कुमार, डॉ मनोज कुमार राही, प्रवीण तिवारी आदि की उपस्थिति इस आयोजन को राष्ट्रीय फलक देगी।
दिन के तीन बजे से आरंभ होने वाला यह कार्यम्रम चार सत्रों में संपन्न होगा।
पहले सत्र डॉ आरके नीरद द्वारा संपादित ‘वाचिक परंपरा के धवल साहित्यकार-समालोचक प्रो मनमोहन मिश्र’ सहित कई लेखकों और कवियों की पुस्तकों का लोकार्पण होगा।
दूसरे सत्र स्मृति आचमन में प्रो मनमोहन मिश्र के व्यक्तित्व और कृतित्व पर व्याख्यान होगा।
तीसरे सत्र ‘सुरांजलि’ सुर संध्या को समर्पित होगा, जबकि
चौथे सत्र काव्यांजलि में काव्य पाठ होगा।
कार्यक्रम के आयोजक-संयोजक रामरंजन कुमार सिंह, गंगाधर मिश्र, कृपासिन्धु बच्चन एवं आनंद मिश्र ने बताया कि इस अवसर पर स्वर्गीय मनमोहन मिश्र के बाल सखा, कलिग और हिंदी-संस्कृत के महान विद्वान और हिन्दी के पूर्व विवाघाध्यक्ष स्वर्गीय श्री कांत तिवारी, स्वयं सेवक, स्वादिशी विचारक, पाकुड़ की पत्रकारिता के युगस्तंभ स्वर्गीय दिगेश चंद्र त्रिवेदी को भी श्रद्धांजलि दी जायेगी।